भारत में मार्वल फिल्मों का इतना क्रेज क्यों है?
लेखक - Sanju Thakur
भारतीय सुपरहीरो जैसे डोगा, नागराज, सुपर कमांडो ध्रुव पर फ़िल्म बनाने की हिम्मत किसी के पास नही है।
अगर कोई फ़िल्म बनाने की कोशिश भी करे तो उसका बजट ही काफी ज्यादा होगा क्योंकि स्पेशल इफ़ेक्ट काफी महँगे पड़ेंगे।
यहां के निर्देशक सेफ गेम खेलना चाहते है, उनके हिसाब से इन सुपरहेरोज़ पर महँगी फ़िल्म बनाके उन्हें कोई फायदा नही होगा जैसे द्रोण, रा वन इत्यादि।
सुपरहीरोज़ पे फ़िल्म बनाने के लिए एक फ्रैंचाइज़ी चाहिए जो केवल एक ही फ़िल्म पे न रुके।
सबसे महत्वपूर्ण बात, हमारे कॉमिक्स के रचियता भी खुद ही उदासीन रहते है कि फ़िल्म तो छोड़ो कॉमिक्स भी ढंग से रिलीज कर पाते। अगर आप राज कॉमिक्स पढ़ते होंगे तो आपको तो पता ही होगा कि सर्वप्रलय भाग मार्किट में आ चुका है लेकिन उनकी ऑफिसियल वेबसाइट पे कोई इनफार्मेशन ही नही है।
अपकॉमिंग - जंक्शन प्लैनेट मैंगजीन जुलाई 2020
ℐᝪⅈℕ➠ @comicsjunction
लेखक - Sanju Thakur
भारतीय सुपरहीरो जैसे डोगा, नागराज, सुपर कमांडो ध्रुव पर फ़िल्म बनाने की हिम्मत किसी के पास नही है।
अगर कोई फ़िल्म बनाने की कोशिश भी करे तो उसका बजट ही काफी ज्यादा होगा क्योंकि स्पेशल इफ़ेक्ट काफी महँगे पड़ेंगे।
यहां के निर्देशक सेफ गेम खेलना चाहते है, उनके हिसाब से इन सुपरहेरोज़ पर महँगी फ़िल्म बनाके उन्हें कोई फायदा नही होगा जैसे द्रोण, रा वन इत्यादि।
सुपरहीरोज़ पे फ़िल्म बनाने के लिए एक फ्रैंचाइज़ी चाहिए जो केवल एक ही फ़िल्म पे न रुके।
सबसे महत्वपूर्ण बात, हमारे कॉमिक्स के रचियता भी खुद ही उदासीन रहते है कि फ़िल्म तो छोड़ो कॉमिक्स भी ढंग से रिलीज कर पाते। अगर आप राज कॉमिक्स पढ़ते होंगे तो आपको तो पता ही होगा कि सर्वप्रलय भाग मार्किट में आ चुका है लेकिन उनकी ऑफिसियल वेबसाइट पे कोई इनफार्मेशन ही नही है।
अपकॉमिंग - जंक्शन प्लैनेट मैंगजीन जुलाई 2020
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