[HINDI] इतिहास में बड़े-बड़े सवाल हमेशा सड़कों की लड़ाइयों से हल होते हैं. यह बात कामरेड विनोद मिश्र ने दिसंबर 1998 में पार्टी की सेंट्रल कमिटी को अपने अंतिम नोट में याद दिलाई थी.
https://hindi.cpiml.net/index.php/samkaleen-lokyouddh/2024/12/on-the-26th-memorial-day-of-comrade-vinod-mishra
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