『🖊️🖋️कलम-ए-इश्क🖋️🖊️』


Гео и язык канала: Индия, Хинди
Категория: Цитаты


दिल के जज़्बात अल्फ़ाज़ बनकर कलम से निकलते है।
❤️Lᴏᴠᴇ Sʜᴀʏᴀʀɪ❤️
☕Cʜᴀʏ Sʜᴀʏᴀʀɪ☕
🖤Sᴀᴅ Sʜᴀʏᴀʀɪ🖤
💝Mᴏᴛɪᴠᴀᴛɪᴏɴᴀʟ Sʜᴀʏᴀʀɪ💝
💔Bʀᴀᴋᴇᴜᴘ Sʜᴀʏᴀʀɪ💔
🌴Nᴀᴛᴜʀᴇ Sʜᴀʏᴀʀɪ🌴
Fᴏʀ Mᴏʀᴇ Jᴏɪɴ Oᴜʀ Cʜᴀɴɴᴇʟ
☞︎︎︎ @kalam_ae_ishk
☞︎︎︎ @collectionsofstatus
Owner ☞︎︎︎ @m_rwriter

Связанные каналы  |  Похожие каналы

Гео и язык канала
Индия, Хинди
Категория
Цитаты
Статистика
Фильтр публикаций


हर किसी की अपनी अपनी प्रेम कहानी है
हर कहानी में एक धोखेबाज राजा या रानी है...!!😁


परीक्षाओं में असफल हुए पुरुष
अक्सर प्रेम में भी असफल हो जाते हैं

विवाह की पहली रस्म
पुरुष की आय पूछना होती है
दूसरी पुरुष की आयु
तीसरी पुरुष का आवास
और चौथी, पुरुष का गोत्र

परीक्षाओं में असफल पुरुष
अक्सर गँवा बैठते हैं
आय, आयु, और आवास
परीक्षाएँ देते-देते

असफल पुरुष का
कोई गोत्र नहीं होता
न ही कोई प्रेम कहानी

असफलता उसका अस्तित्व होती है
परीक्षा उसका जीवन
शर्म, उसके हिस्से आये ढाई अक्षर

-अभिषेक शुक्ला


•?((¯°·..• कलम-ए-इश्क •..·°¯))؟•

वो ठहरे हृदयग्राही,
अभिसंधि भी हो तो कोई कैसे माने।
-लफ़्ज-ए-प्रशान्त✍🏻
#m_rwriter

🖊️☕𝒦𝒶𝓁𝒶𝓂-𝒜𝑒-𝐼𝓈𝒽𝓀 ☕🖊️


•?((¯°·..• कलम-ए-इश्क •..·°¯))؟•

अस्तित्व की पहचान है जीवन का आखिरी इम्तिहान।

-लफ़्ज-ए-प्रशान्त✍🏻
#one_liner
#m_rwriter

🖊️☕𝒦𝒶𝓁𝒶𝓂-𝒜𝑒-𝐼𝓈𝒽𝓀 ☕🖊️


Репост из: लफ़्ज-ए-प्रशान्त✍🏻
तुमसा कोई ..🫰

हाल हर कोई पूछ लेता है,
पर तुमसा कोई पूछता नहीं।

-लफ़्ज-ए-प्रशान्त✍🏻

📸1️⃣


यहाँ तकलीफ भी है, और शोर भी,

मुझमे हिम्मत भी है, और हूँ कमजोर भी'

ऐसे तो, तुम खो दोगे मुझे....

ऐसे तो ,तुम खो दोगे मुझे....

तुम्हें मैं चाहिए, फिर कोई और भी!

~चेतना🫰


Bada vala Thanku bhai❤️🙌🥳🥳


But I'm Really masoom...🥹😂banti na hun...🙈


•?((¯°·..• कलम-ए-इश्क •..·°¯))؟•

एक अंजान सी वो शख्सियत,
जो अंजान अब है नहीं,
थोड़ा नटखट सा लहजा उसका,
थोड़ी शरारती वो है भी,
वो रहती है उसकी नगरी,
जिसकी बांसुरी की धुन में सब मोहक,
वो थोड़ी सी नादान है खुद से,
थोड़ी बनने का करती है नाटक,

जन्मदिन की हार्दिक शुभकामनाएं वैदेही 🎂

🖊️☕𝒦𝒶𝓁𝒶𝓂-𝒜𝑒-𝐼𝓈𝒽𝓀 ☕🖊️


!!मुलाकात का वक़्त हो गया!!

एक जमाना गुज़र गया ,अब मुलाकात चाहिए!
अब तक जिया यादों में,अब हक़ीक़त की सौगात चाहिए!!
वक़्त फिसल रहा है रेत सा, बचा हुआ तेरे साथ चाहिए!
सावन आ रहे जा रहे ,अब साथ की एक बरसात चाहिए!!
रातों का काफी उधार हो गया,सुकूँन की एक रात चाहिए!
ज़िन्दगी जीने का दिल करे,ऐसी एक शुरुआत चाहिए!!
सबको सुधरा सुधरा लगूं, ऐसे कुछ हालात चाहिए!
जो सिर्फ मुझे मिल सके, कोई ऐसी एक खैरात चाहिए!!
माँ चाहती है पर बोलती नही,कि उन्हें अब एक बारात चाहिए!
अब तुम भी लिपट कर कह दो, कि एक मुलाकात चाहिए!!

❤️

~अभि🌻🫰


•?((¯°·..• कलम-ए-इश्क •..·°¯))؟•

सुनो ए हवाएं,
उनके तरफ का कोई नहीं अब मेरा,
उनके दिल का तू ही हाल कुछ बता,
एक बार जरा,
उनको मेरी तरफ से छूकर तो आ।
-लफ़्ज-ए-प्रशान्त✍🏻

🖊️☕𝒦𝒶𝓁𝒶𝓂-𝒜𝑒-𝐼𝓈𝒽𝓀 ☕🖊️


so you want to be a writer?

if it doesn’t come bursting out of you
in spite of everything,
don’t do it.
unless it comes unasked out of your
heart and your mind and your mouth
and your gut,
don’t do it.
if you have to sit for hours
staring at your computer screen
or hunched over your
typewriter
searching for words,
don’t do it.
if you’re doing it for money or
fame,
don’t do it.
if you’re doing it because you want
women in your bed,
don’t do it.
if you have to sit there and
rewrite it again and again,
don’t do it.
if it’s hard work just thinking about doing it,
don’t do it.
if you’re trying to write like somebody
else,
forget about it.


if you have to wait for it to roar out of
you,
then wait patiently.
if it never does roar out of you,
do something else.

if you first have to read it to your wife
or your girlfriend or your boyfriend
or your parents or to anybody at all,
you’re not ready.

don’t be like so many writers,
don’t be like so many thousands of
people who call themselves writers,
don’t be dull and boring and
pretentious, don’t be consumed with self-
love.
the libraries of the world have
yawned themselves to
sleep
over your kind.
don’t add to that.
don’t do it.
unless it comes out of
your soul like a rocket,
unless being still would
drive you to madness or
suicide or murder,
don’t do it.
unless the sun inside you is
burning your gut,
don’t do it.

when it is truly time,
and if you have been chosen,
it will do it by
itself and it will keep on doing it
until you die or it dies in you.

there is no other way.

and there never was.

-Charles Bukowski

हिंदी अनुवाद (वरुण ग्रोवर)

मत लिखो —
अगर फूट के ना निकले
बिना किसी वजह के
मत लिखो।

अगर बिना पूछे-बताए ना बरस पड़े,
तुम्हारे दिल और दिमाग़
और जुबाँ और पेट से
मत लिखो।

अगर घण्टों बैठना पड़े
अपने कम्प्यूटर को ताकते
या टाइपराइटर पर बोझ बने हुए
खोजते कमीने शब्दों को
मत लिखो।

अगर पैसे के लिए
या शोहरत के लिए लिख रहे हो
मत लिखो।

अगर लिख रहे हो
कि ये रास्ता है
किसी औरत को बिस्तर तक लाने का
तो मत लिखो।

अगर बैठ के तुम्हें
बार-बार करने पड़ते हैं सुधार
जाने दो।

अगर लिखने की बात सोचते ही
होने लगता है तनाव
छोड़ दो।

अगर किसी और की तरह
लिखने की फ़िराक़ में हो
तो भूल ही जाओ
अगर वक़्त लगता है
कि चिंघाड़े तुम्हारी अपनी आवाज़
तो उसे वक़्त दो
पर ना चिंघाड़े ग़र फिर भी
तो सामान बाँध लो।

अगर पहले पढ़ के सुनाना पड़ता है
अपनी बीवी या प्रेमिका या प्रेमी
या माँ-बाप या अजनबी आलोचक को
तो तुम कच्चे हो अभी।

अनगिनत लेखकों से मत बनो
उन हज़ारों की तरह
जो कहते हैं खुद को ‘लेखक’
उदास और खोखले और नक्शेबाज़
स्व-मैथुन के मारे हुए।
दुनिया भर की लाइब्रेरियां
त्रस्त हो चुकी हैं
तुम्हारी क़ौम से
मत बढ़ाओ इसे।

दुहाई है, मत बढ़ाओ।
जब तक तुम्हारी आत्मा की ज़मीन से
लम्बी-दूरी के मारक रॉकेट जैसे
नहीं निकलते लफ़्ज़,
जब तक चुप रहना
तुम्हें पूरे चाँद की रात के भेड़िए-सा
नहीं कर देता पागल या हत्यारा,
जब तक कि तुम्हारी नाभि का सूरज
तुम्हारे कमरे में आग नहीं लगा देता
मत मत मत लिखो।

क्यूंकि जब वक़्त आएगा
और तुम्हें मिला होगा वो वरदान
तुम लिखोगे और लिखते रहोगे
जब तक भस्म नहीं हो जाते
तुम या यह हवस।

कोई और तरीका नहीं है
कोई और तरीका नहीं था कभी।


Видео недоступно для предпросмотра
Смотреть в Telegram
तो तुम लेखक बनना चाहते हो...
कवि - चार्ल्स बुकोवस्की
हिंदी अनुवाद -वरुण ग्रोवर


•?((¯°·..• कलम-ए-इश्क •..·°¯))؟•

साथी का क्या स्वरूप होना चाहिए!

कभी छांव सा कोमल,कभी कड़कती धूप होना चाहिए!

कभी नील सा अंबर, कभी बेरंग सा नीर होना चाहिए!

कभी गरजता बादल सा, कभी हवा सा धीर होना चाहिए!

हर साथी का ऐसा रूप होना चाहिए!

पड़े अगर वियोग में , तो भँवरे जैसा तीर होना चाहिए!

गर पड़े कभी संयोग में, तो बगुले जैसा धीर होना चाहिए!

विलासताओं का प्रेम में खून होना चाहिए,

जब जरूरत पड़े साथी का पहला हाथ होना चाहिए!

❤️

~Abhiwrites❣

🖊️☕𝒦𝒶𝓁𝒶𝓂-𝒜𝑒-𝐼𝓈𝒽𝓀 ☕🖊️


•?((¯°·..• कलम-ए-इश्क •..·°¯))؟•

कितने इश्क़ किए हैं ये भी याद नहीं

फिर भी ये लगता है पहला बाक़ी है...🖤😐

~ शारिक़ कैफ़ी

🖊️☕𝒦𝒶𝓁𝒶𝓂-𝒜𝑒-𝐼𝓈𝒽𝓀 ☕🖊️


•?((¯°·..• कलम-ए-इश्क •..·°¯))؟•

एक ओर ज़िंदगी के सवाल भारी है,

एक तरफ़ हमें खुश रहने की बीमारी है!

कोई अमृत पी कर बैठा है,

तो कहीं किसी की, ज़िंदगी से जंग जारी है!

कोई उम्र गुजरने की खुशी मनाए,

तो कोई खुदखुशी की तैयारी में है!

दो अक्षर पढ़, कोई किताब नहीं पढ़ लेता,

कुछ अनपढ़ कुछ सीख गए, कुछ के दिमाग काफी भारी है!

मैंने कहा था थम कर करना इश्क़,

तुमने ही कहा था उससे मेरी सांसे जारी है,

एक वक्त था जब मुझे अपना कहते थे,

एक आज है, मेरी जान लेने की तैयारी है!

सुप्रभात🌻

~Abhiwrites🩵

🖊️☕𝒦𝒶𝓁𝒶𝓂-𝒜𝑒-𝐼𝓈𝒽𝓀 ☕🖊️


•?((¯°·..• कलम-ए-इश्क •..·°¯))؟•

रोज एक सूना-सा इंतजार करता हूं मैं भी,

तुम नहीं आते हो मगर फिर भी...💔


🖊️☕𝒦𝒶𝓁𝒶𝓂-𝒜𝑒-𝐼𝓈𝒽𝓀 ☕🖊️


Репост из: लफ़्ज-ए-प्रशान्त✍🏻
वजह

अंधेरा है ,वजह रात नहीं
अकेला हूं, वजह साथ नहीं
जीता हूं ,वजह मात नहीं
दुखी हूं, वजह भाग्य नहीं
और सुखी हूं, तो वजह सौभाग्य नहीं

-लफ़्ज-ए-प्रशान्त✍🏻


•?((¯°·..• कलम-ए-इश्क •..·°¯))؟•

सुनो,
मेरी जान,
तुम, इतना क्यों फिर याद आ रहे हो,
मेरी जान तुम ही हो क्या..
अच्छा अच्छा ,सुनो ना,
तुम इतना अब क्यों इतरा रहे हो.
सच सच कहो ना,
मेरी जान तुम ही हो क्या..
-लफ़्ज-ए-प्रशान्त✍🏻
#m_rwriter
#incomplete

🖊️☕𝒦𝒶𝓁𝒶𝓂-𝒜𝑒-𝐼𝓈𝒽𝓀 ☕🖊️


मेरी आँखों में कैद, तस्वीर है जिसकी

उसने आईने में उसे रखा , जिससे तकदीर है उसकी !!

~Abhiwrites🤍🫰


हर काग़ज़ पर मोहब्ब्त की दास्तां बयां
नहीं होती....

कुछ काग़ज़ गरीबी का हिसाब रखते हैं...
जनाब...!!

Показано 20 последних публикаций.